लोग मेरी भावनाओं को इंच ,गज ,फीता समझते हैं |
कम से कम आप मेरी कविता को कविता समझते हैं |
बुजुर्गों का हीं आशीर्वाद है कि दुनिया सलामत है ,
हम तो आपकी सलाहियत को गीता समझते हैं |
ख़ुशी देना ,ख़ुशी पाने से लाख बेहतर है ,
हम इसे जीने का उम्दा सलीका समझते हैं |
कुछ लोग हैं कि हमसे दूरियाँ बना लिए ,
कविता को मेरी बम का पलीता समझते हैं |
कम से कम आप मेरी कविता को कविता समझते हैं |
बुजुर्गों का हीं आशीर्वाद है कि दुनिया सलामत है ,
हम तो आपकी सलाहियत को गीता समझते हैं |
ख़ुशी देना ,ख़ुशी पाने से लाख बेहतर है ,
हम इसे जीने का उम्दा सलीका समझते हैं |
कुछ लोग हैं कि हमसे दूरियाँ बना लिए ,
कविता को मेरी बम का पलीता समझते हैं |
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